तेरापंथी उपसभा

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सामाजिक सुसंगठन की सुदृढ़ता महासभा का एक प्रमुख लक्ष्य है। प्रत्येक तेरापंथी परिवार समाज के संगठन से जुड़े, इस दृष्टि से महासभा द्वारा तेरापंथी उपसभा का गठन किया जाता है। इस प्रकल्प के अंतर्गत उन क्षेत्रों को जोड़ा जाता है, जहां चार से अधिक तेरापंथी परिवार रहते हैं और तेरापंथी सभा का गठन नहीं हुआ है। अपने क्षेत्र के सभी तेरापंथी परिवारों का प्रतिनिधित्व व सार-संभाल, क्षेत्र व आसपास में पधारने वाले साधु-साध्वियों, समणश्रेणी की अपेक्षानुसार सेवा, व्यवस्था व सार-संभाल, निकटतम तेरापंथी सभा से सम्पर्क, महासभा द्वारा प्राप्त निर्देशों की अनुपालना आदि उपसभा के दायित्व होते हैं। देशभर में 95 तेरापंथी उपसभाएं कार्यरत हैं। महासभा द्वारा उपसभा के द्विवर्षीय कार्यकाल के लिए एक संयोजक तथा अपेक्षानुसार एक अथवा दो सहसंयोजकों को नियुक्त किया जाता है।